बेगूसराय: एससी-एसटी और ओबीसी माइनॉरिटी संयुक्त मोर्चा के द्वारा मनु स्मृति दहन का कार्यक्रम आयोजन किया गया. इस दौरान शहर के अंबेडकर चौक से एक जुलूस निकाला गया जो कैंटीन चौक पहुंचकर सभा में तब्दील हो गया. इस दौरान कार्यकर्ताओं ने मनुवादी व्यवस्था के खिलाफ जमकर नारेबाजी की और उसकी प्रतियां जलाई. शुक्रवार के इस प्रदर्शन में दर्जनों की संख्या में महिला और पुरुष शामिल थे.
हर साल की भांति 25 दिसंबर को एससी-एसटी-ओबीसी माइनॉरिटी संयुक्त मोर्चा के द्वारा मनुस्मृति के दहन का कार्यक्रम आयोजित किया जाता है. इसी कड़ी में शुक्रवार को एक बार फिर से संस्था के द्वारा मनुस्मृति के खिलाफ जमकर नारे लगाए.
संस्था के सदस्यों का मानना है कि समाज में व्याप्त ऊच-नीच और व्याप्त कुरीतियों की जड़ में मनु स्मृति हैं. जो मनुष्य में विभेद पैदा करना सिखाता है. संस्था के सदस्यों का कहना है कि आज ही के दिन बाबा भीमराव अंबेडकर ने इसकी प्रतियों को जलाने का काम किया था, इसलिए इस दिन को हम लोग भी मनुस्मृति को जलाने का काम करते हैं.
संस्था के सदस्यों का कहना है कि मनुस्मृति के कारण ही महिलाएं घर से निकल नहीं पाती थी. जिससे उनका विकास नहीं हो पाता था. हालांकि भीमराव अंबेडकर ने ऐसी कुरितियों को खत्म करने के लिए मनुस्मृति को जिम्मेदार बताया और उसकी प्रतियां जलाई.